बिग ब्रेकिंग:- शासन ने जारी की नगर निगम, नगर पालिका और नगर पंचायतों में आरक्षण की अनंतिम अधिसूचना

नगर निकाय चुनाव के लिए कसरत अब अंतिम दौर में पहुंच गई है। आरक्षण नियमावली को मंजूरी मिलने के बाद शहरी विकास निदेशालय द्वारा महापौर व अध्यक्ष पदों पर आरक्षण का प्रस्ताव तैयार कर दिया।

 

 

 

जिसके बाद शनिवार को शासन द्वारा इन पदों के लिए आरक्षण की अनंतिम अधिसूचना जारी कर दी गई। उधर, शहरी विकास निदेशालय ने नगर निकायों में वार्डों के आरक्षण की समय सारिणी जारी कर दी है। इस संबंध में सभी जिलाधिकारियोंं को पत्र भेजा गया है। जिलाधिकारी शनिवार को वार्ड आरक्षण के प्रस्ताव तैयार कराएंगे और 15 दिसंबर को इसकी अनंतिम अधिसूचना जारी की जाएगी।

 

 

निकायों में ओबीसी आरक्षण का नए सिरे से निर्धारण समेत कुछ अन्य विषयों के दृष्टिगत नगर निगम व नगर पालिका अधिनियम में संशोधन अध्यादेश को राजभवन से हरी झंडी मिलने के बाद गुरुवार को पदों व स्थानों के आरक्षण व आवंटन से संबंधित नियमावली को भी मंजूरी दे दी गई थी।

 

 

 

नियमावली के तहत आरक्षण का निर्धारण हुआ है। इसमें प्रविधान है कि नगर निगम में महापौर और नगर पालिका परिषद व नगर पंचायतों में आरक्षण का प्रस्ताव तैयार कर शहरी विकास निदेशालय शासन को भेजेगा। फिर शासन इस पर मंथन के बाद आरक्षण की अनंतिम अधिसूचना जारी करेगा।

 

 

महापौर के 11, नगर पालिका परिषद अध्यक्ष के 45 और नगर पंचायत अध्यक्ष के 46 पदों पर आरक्षण का प्रस्ताव तैयार करने के लिए शहरी विकास निदेशालय के अधिकारी शुक्रवार को दिनभर जुटे रहे। देर रात तक महापौर पदों के आरक्षण प्रस्ताव ही तैयार हो पाए थे। बताते हैं कि देर रात विभागीय अधिकारियों ने इस संबंध में शहरी विकास मंत्री प्रेमचंद अग्रवाल से भी बातचीत की। इसके बाद तय हुआ कि आरक्षण प्रस्ताव की कसरत शनिवार को पूर्ण कर शासन को भेजी जाएगी।

 

 

सभी नगर निकायों में वार्ड आरक्षण के लिए जिलों में शनिवार से कसरत प्रारंभ हो गई है। शहरी विकास विभाग के अपर निदेशक ललित नारायण मिश्र ने इस सिलसिले में सभी जिलाधिकारियों को पत्र भेजा है। इसमें कहा गया है कि जिला स्तर पर निकायों में वार्ड आरक्षण के लिए जिलाधिकारी शनिवार को प्रस्ताव तैयार करेंगे।

 

15 दिसंबर को इसकी अनंतिम अधिसूचना जारी की जाएगी। इसके बाद 21 दिसंबर तक आरक्षण पर दावे व आपत्तियां प्राप्त किए जा सकेंगे। 22 दिसंबर को दावों व आपत्तियों का निस्तारण कर इसकी सूचना निदेशालय व शासन को भेजी जाएगी।

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